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Thursday, March 27, 2025

अन्तिम इच्छा

रात के करीब 3:30 बजे फोन की घंटी बजती है,
महिला हेलो हां जी कौन
एक बुजुर्ग की कंपकंपाती आवाज
बेटा मैं बाबूजी तुम्हारी मां की तबीयत बहुत खराब है!
शायद तुम बिजली का बिल भरना भूल गए हो, 
लाइट कट गई है।
पड़ोस वाले शर्मा जी की बेटी की शादी है, तो सभी पड़ोसी शादी में गए हैं।
तुम्हारी मां की तबीयत खराब होने के कारण हम लोग नहीं जा पाए।घर में राशन भी नहीं है।
तुम कहां हो जल्दी से घर आ जाओ।
महिला:- हेलो कौन बाबू जी
लगता है आपने कोई गलत नंबर मिला दिया है ?
बुजुर्ग:- बेटा माफ करना, हर बार मेरा बेटा ही मुझे फोन करता है, इसलिए मुझे अपने बेटे का नंबर नहीं पता। फोन डायरेक्टरी में से ढूंढ कर एक नंबर लगाया था, जो गलती से तुम्हें लग गया।
महिला:- बाबूजी आप परेशान ना हो, मैं अभी एंबुलेंस को फोन कर देती हूं, आप अपने घर का पता लिखवाइए। बुजुर्गों ने पता लिखवाया,
महिला :- बाबूजी मैं भी जल्द ही इस पते पर आती हूं
महिला ने एंबुलेंस को फोन किया और घर से निकल गई।
थोड़ी देर बाद एंबुलेंस से डॉक्टर का फोन आया।
हेलो मैडम आपने जो पता लिखवाया था, वहां पर एक बुजुर्ग दंपत्ति की लाश मिली है महिला भावुक हो गई, डॉक्टर साहब आप थोड़ी देर रुकिए, मैं जल्दी पहुंचती हूं।
महिला वहां पहुंची, बुजुर्ग महिला सोफे पर मृत पड़ी हुई थी। वह बूढ़ा व्यक्ति एक हाथ में मोबाइल दूसरे हाथ में फोन डायरेक्टरी लिए हुए जमीन पर मृत पड़ा था। महिला ने अपने मोबाइल से उन बुजुर्ग दंपत्ति की कुछ तस्वीरें ली। डॉक्टर के चेक करने के बाद यह पता चला कि इन दोनों की मृत्यु 4 से 5 घंटे पहले हो चुकी है।
महिला:- यह कैसे हो सकता है। अभी कुछ देर पहले ही तो मुझसे बात हुई है, यह देखिए मेरा मोबाइल इसमें नंबर होगा। महिला ने अपने मोबाइल को देखा उसमें कोई नंबर नहीं था। महिला आश्चर्यचकित हुई पुलिस की मदद से उसके बेटे का पता लगाया, सुबह पड़ोसी आए, पड़ोसियों ने बताया कि कई साल से बेटा घर नहीं आया है। वह बस हर महीने खर्चे के लिए रुपए भेज देता है। उनकी हालत देख कर लग रहा था कि दो-तीन महीने से बेटे ने पैसे नहीं भेजे हैं। घर में कुछ राशन भी नहीं था, अपने बेटे की इज्जत छुपाने के लिए पड़ोसियों से यह सब बातें नहीं बताई थी। महिला ने बेटे को फोन किया और घटना की जानकारी दी। बेटे ने कहा मेरी आज बहुत जरूरी मीटिंग है, मैं नही आ सकता। आप अंतिम संस्कार कर दो। मैं दो-चार दिन में आकर प्रॉपर्टी का काम देख लूंगा। महिला ने गुस्से में कहा मैं तुम्हें कुछ तस्वीरें भेज रही हूं, जिस हाल में तुम्हारे पिता की मृत्यु हुई है, वह शायद उनकी अंतिम इच्छा थी कि वे तुमसे बात कर सकें और इस फोटो को कभी डिलीट मत करना क्यों कि यही तुम्हारा भविष्य होगा। यह सब जानकर बहुत दुख होता है कि जो मां-बाप अपने बेटे को खून-पसीना बहा कर पढ़ाते लिखाते हैं, वही औलाद एक दिन अपने बुजुर्ग माता-पिता के अंतिम संस्कार के लिए भी नहीं आती है। अफसोस है ऐसी औलाद पर एक बुजुर्ग दंपत्ति की अंतिम इच्छा, अपने बेटे से बात करने की।
अधूरी रह गई अन्तिम इच्छा